Monday, 15 December 2025

क्या है ये SIR

क्या है ये SIR ?

विवेक रंजन श्रीवास्तव 
न्यूयॉर्क 

भारत निर्वाचन आयोग (ECI) द्वारा चलाई जा रही  SIR प्रक्रिया मतदाता सूची को शुद्ध और अद्यतन बनाने का एक महत्वपूर्ण कदम है, जो फर्जी वोटरों को हटाने और असली मतदाताओं की पहचान सुनिश्चित करने पर केंद्रित है।

SIR का पूरा नाम Special Intensive Revision है, जिसे हिंदी में विशेष गहन पुनरीक्षण कहा जाता है। यह चुनाव आयोग की एक नियोजित प्रक्रिया है जिसमें मतदाता सूची का ब्लॉक लेवल ऑफिसर (BLO) घर-घर जाकर मतदाता सूची की जांच करते हैं, नाम, पता, उम्र, परिवार के सदस्यों का सत्यापन करते हैं। इसका मुख्य लक्ष्य डुप्लीकेट एंट्री, मृत व्यक्तियों के नाम हटाना , शिफ्ट हुए मतदाताओं या अवैध प्रविष्टियों को हटाना तथा नए बने 18+ उम्र के मतदाताओं को जोड़ना है।

सर का इतिहास..

SIR कोई नई योजना नहीं है, बल्कि दशकों पुरानी प्रक्रिया है जो चुनाव कानून के तहत हर चुनाव से पहले या आवश्यकता पर पहले भी की जाती रही है। बिहार में हाल ही में इसे सफलतापूर्वक लागू किया गया, जहां 64 लाख फर्जी वोटर हटाए गए और इससे वोटिंग प्रतिशत 10% बढ़ा।

वर्ष 2025 में चुनाव आयोग ने इसे पूरे देश में विस्तार दिया, खासकर 23 साल बाद बड़े पैमाने पर यह हो रहा है । लेकिन कुछ राज्य जैसे पश्चिम बंगाल और तमिलनाडु में विपक्ष ने इसका विरोध किया तथा सुप्रीम कोर्ट में इस व्यवस्था को चुनौती दी।

SIR प्रक्रिया का पहला आधिकारिक कार्यान्वयन सन 1952 में हुआ था, जब भारत के पहले लोकसभा चुनाव हुए और मतदाता सूची को गहन पुनरीक्षण की आवश्यकता पड़ी । उस समय भारत निर्वाचन आयोग , जो 1950 में स्थापित हुआ था, ने इसकी जिम्मेदारी ली थी ।तत्कालीन मुख्य निर्वाचन आयुक्त सुकुमार सेन के नेतृत्व में मतदाता सूची शुद्ध करने का यह अभियान संपन्न हुआ था। इसके बाद यह प्रक्रिया समय-समय पर, विशेषकर बड़े चुनावों से पहले, जारी रही, जैसे 2002-2004 के बीच पूरे देश में बड़े पैमाने पर सर को क्रियान्वित किया गया था। 

S I R का तरीका..
BLO या SIR टीम घर घरआती है, अपना पहचान पत्र दिखाती है । आप परिवार के वोटिंग लिस्ट के सदस्यों के नाम, पता, परिवार विवरण, दस्तावेज (आधार, राशन कार्ड, बिजली बिल आदि दस्तावेज से ) सत्यापित करवाते हैं। फॉर्म 6 (नया पंजीकरण), फॉर्म 7 (नाम हटाना), फॉर्म 8 (सुधार) के फार्म भरवाए जाते हैं।
पारदर्शिता के लिए परिवार वंशावली प्रमाण जरूरी होता है। 
बिहार मॉडल पर आधारित, यह वोटर लिस्ट सत्यापन के द्वारा वर्तमान जनसांख्यिकी (शहरीकरण, पलायन) के अनुरूप सही वोटर लिस्ट  बनाता है।

SIR का औचित्य..

लोकतंत्र की मजबूती के लिए मतदाता सूची की शुद्धता अनिवार्य है, क्योंकि गलत वोटर चुनावी निष्पक्षता बाधित करते हैं। 
SIR से मृत , पलायन कर चुके वोटर लिस्ट से समाप्त होते हैं, यदि कोई घुसपैठिए खासकर विदेशी सीमा से जुड़े प्रदेशों में किसी तरह आ गए हैं तो दस्तावेजों के अभाव में उनकी वोटिंग का गलत अधिकार रोक दिया जाता है ।  भारत के वास्तविक नागरिक के वोटिंग अधिकार सुरक्षित रहते हैं । वोटिंग प्रतिशत बढ़ जाता है, क्योंकि बोगस नाम कट जाने से वोटिंग लिस्ट यथार्थ और अद्यतन बन जाती है। विपक्षी आशंकाओं के बावजूद, यह एक रूटीन अभियान है जो वार्षिक संशोधन से आगे जाकर वोट लिस्ट की  गहन सफाई सुनिश्चित करता है, ताकि हर योग्य वोट का अधिकार बरकरार रहे।



विवेक रंजन श्रीवास्तव 
न्यूयॉर्क से

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